Home उत्तर प्रदेश डॉक्टर होना पेशा नहीं एक इबादत है: डा० खुबैर अहमद

डॉक्टर होना पेशा नहीं एक इबादत है: डा० खुबैर अहमद

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सिद्धार्थनगर के चिकित्सक ने गांवों के भरोसे पर जोर दिया, कहा- ‘शहरों की चमक नहीं, गांवों का भरोसा बनूंगा’

SIDHARTH NAGAR NEWS: राष्ट्रीय चिकित्सक दिवस के अवसर पर सिद्धार्थनगर जनपद के ढेकहरी बुजुर्ग चौराहे पर स्थित स्टार हेल्थ एंड होम्योपैथिक क्लीनिक के डॉ. खुबैर अहमद (सोनू), बीएचएमएस, एमडी ने इस दिन को आत्ममंथन का क्षण बताया। उन्होंने कहा कि डॉक्टर वह होता है जो दूसरे के दर्द को अपने दिल से महसूस करता है और उसकी राहत को अपना परम धर्म समझता है। डॉ. अहमद के लिए डॉक्टर होना सिर्फ पेशा नहीं, बल्कि एक इबादत है। उन्होंने संकल्प लिया है कि वे शहरों की चमक नहीं, गांवों का भरोसा बनेंगे। डॉ. खुबैर अहमद ने अपने क्लिनिक के अनुभवों को साझा करते हुए बताया कि एक मां की आंखों में राहत, एक बुजुर्ग की दुआ और एक पिता की हिम्मत लौटना ही उनके लिए सबसे बड़ा पुरस्कार है। उन्होंने अपनी चिकित्सा के तीन आधार बताए: सेवा (पैसा कमाना नहीं, स्वास्थ्य बांटना उद्देश्य), सच्चाई (हर मरीज को सच कहना), और सहजता (मरीज डर से नहीं, विश्वास से इलाज कराए)। इन सिद्धांतों पर चलकर ही वे मरीजों का विश्वास जीत पाते हैं।
उन्होंने अपने माता-पिता, शिक्षकों, हर मरीज और ईश्वर के प्रति कृतज्ञता व्यक्त की। चिकित्सक दिवस पर उन्होंने संदेश दिया, अगर आप किसी का दर्द कम कर सकते हैं, तो आप केवल डॉक्टर नहीं, इंसानियत के सच्चे प्रतिनिधि हैं। उन्होंने सभी को चिकित्सक दिवस की शुभकामनाएं देते हुए स्वस्थ और सेवाभावी भारत के सपने को साकार करने का प्रयास जारी रखने की बात कही।